डायबिटीज़ बेहद घातक होता है, इसमें शरीर के हर हिस्से को धीरे-धीरे बर्बाद करने की क्षमता होती है. डायबिटीज़ यानी मधुमेह की वजह से हम ऐसी बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं, जिनका इलाज अगर सही वक़्त पर ना किया जाए तो यह जानलेवा हो सकता है.
इसलिए खानपान में सावधानी बरतने, एक्सरसाइज़ करने और शुगर लेवल पर नज़र बनाए रखने के अलावा हम आपको जिन लक्षणों को बताने जा रहे हैं, उससे आप वाकिफ़ रहें, जिससे डायबिटीज़ से जुड़ी परेशानियों को मैनेज करने में कामयाबी मिल सके.
पैरों में झुनझुनी महसूस करना
ब्लड शुगर लेवल के बढ़ने से आपका नर्व सिस्टम ख़राब हो सकता है, यह हाथों और पैरों की तंत्रिकाओं को बर्बाद कर देता हैं, जिसे डायबिटिक पेरिफ़ेरल न्यूरोपैथी के नाम से जाना जाता है. उँगलियों और टखनों में झुनझुनी होना, इस बीमारी के शुरूआती लक्षणों में से एक है. अगर आपको मधुमेह है और आप झुनझुनी के बाद सुन्नपन और जलन महसूस करते हैं, तो फ़ौरन स्क्रीनिंग टेस्ट करवाएं, साथ ही न्यूरोलॉजिस्ट से इसकी वजह मालूम करें.
घाव और छालों का होना
डायबिटिक लोगों में अपने आप छालों का होना अनियंत्रित ब्लड शुगर लेवल का नतीजा होता है. डायबिटीज़ के चलते होने वाले छाले अक्सर उंगलियों, टखनों और पैरों में होते हैं. ऐसे घाव और छाले क्यों पड़ते हैं, इसकी कोई तय वजह अब तक मालूम नहीं हुई है.
ज़ख़्मों का जल्दी न भरना
डायबिटिज़ के चलते एक समय के बाद रक्त का संचार (ब्लड सर्कुलेशन) भी प्रभावित होता है, जिसकी वजह से शरीर का घाव जल्दी नहीं भर पाता. इसलिए अगर छोटी से छोटी चोट, घाव, छालों को भरने में समय लगता है, तो यह इस बात की चेतावनी है कि अब आपको अपने डायबिटीज़ को कंट्रोल करना चाहिए.
त्वचा से जुड़ी तकलीफ़ें
घाव भर पाने की कमज़ोर क्षमता के साथ ही, ख़राब ब्लड सर्कुलेशन की वजह से शरीर संक्रमण (इंफ़ेक्शन) से लड़ने में भी नाकामयाब होने लगता है. इसलिए अगर आपको शरीर के किसी भी हिस्से में लाल निशान, खुजली, सूजन महसूस हो, तो समझिए कि यह डायबिटीज़ की वजह से होने वाला त्वचा संबंधित संक्रमण है.
पैरों में सूजन
डायबिटिक व्यक्ति के पैरों में होने वाली सूजन और क्रैम्प उसे एक तरह से डायबिटिक न्यूरोपैथी की ओर ले जाने का संकेत देते हैं. किडनी का काम होता है शरीर के अनचाहे पदार्थों को बाहर निकालना. अगर लंबे समय तक हाई ब्लड शुगर की शिकायत हो, तो इससे किडनी ख़राब हो सकती है और किडनी के काम करने की क्षमता भी प्रभावित हो सकती है. नतीजतन शरीर में अनचाहे पदार्थ इकट्ठा होने और पैरों में सूजन होने लगती है. इतना ही नहीं, गंभीर स्थिति में किडनी फ़ेल भी हो सकती है.
पाचन समस्या
उल्टी होना, जी मिचलाना, सूजन या डायरिया जैसे लक्षण भी डायबिटीज़ के चलते डाइजेस्टिव सिस्टम में नर्व के डैमेज होने की ओर इशारा करते हैं, या फिर ऐसा होना डाइजेस्टिव सिस्टम (पाचन तन्त्र) में ख़राब सर्कुलेशन के चलते होने वाले संक्रमण का नतीजा भी हो सकता है.
नज़रें धुंधली होना
मधुमेह से ग्रसित लोगों में आजकल डायबिटिक रेटिनोपैथी की शिकायत ज़्यादा देखी जा रही है. जिसमें नज़रें धुंधली होने लगती है और हम इसे अनदेखा करते हैं.[1] रक्त में संचार (ब्लड सर्कुलेशन) की समस्या डायबिटिक लोगों में काफ़ी गंभीर हो सकती है, इससे आँखों के ब्लड वेसल्स (रक्त वाहिकाएं) भी ख़राब हो सकते हैं. अगर इसका इलाज नहीं किया जाए, तो तकलीफ़ मोतियाबिंद, ग्लोकोमा और रौशनी ख़त्म होने तक पहुँच सकती है.
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सीने में दर्द
डायबिटीज़ में हार्ट से जुड़ी बीमारी का होना काफ़ी आम है.[1,2] ज़रूरी नहीं कि हार्ट की बीमारी के शुरूआती लक्षण के तौर पर सीने में दर्द हो ही, पर इसे अनदेखा नहीं किया जाना चाहिए. अगर आपके सीने का दर्द बढ़ जाए, भारी लगने लगे और सांस लेने में दिक्कत हो रही हो तो आप सावधान हो जाएं और बिना देर किए डॉक्टर से मिलें. यह हार्ट की बीमारी के संकेत भी हो सकते है.
कंटेंट की समीक्षा: अश्विनी एस कनाडे ने की है, वे रजिस्टर्ड डाइटीशियन हैं और 17 सालों से मधुमेह से जुड़ी जानकारियों के प्रति लोगों को जागरुक कर रहीं हैं.
तथ्यों की जांच: आदित्य नर, बी.फ़ार्मा, एमएससी, पब्लिक हेल्थ एंड हेल्थ इकोनॉमिक्स.
संदर्भ:
[1]. Levin, M. E., & Pfeifer, M. A. (2009). The uncomplicated guide to diabetes complications.Alexandria, VA: American Diabetes Association.
[2]. Deshpande, A. D., Harris-Hayes, M., & Schootman, M. (2008). Epidemiology of Diabetes and Diabetes-Related Complications. Physical Therapy, 88(11), 1254–1264. http://doi.org/10.2522/ptj.20080020